नई दिल्ली। उदयपुर के मेवाड़ घराने के राजकुमार लक्ष्यराज सिंह इन दिनों अपने शालीन व्यवहार को लेकर काफी चर्चा में बने हुए है। दीवापली के दिन उनका एक अलग रूप देखने को मिला जब वो अपने महले को रोशन करने के लिए खुद दिए खरीदने निकल पड़े। और आश्चर्य तो तब हुआ जब वो सड़के के किनारे बैठकर दिए छाटते हुए उन्होनें एक गरीब और के पूरे दिए खरीद लिए।
उनका यह नया अंदाज देख लोग उनकी काफी प्रंशसा कर रहे हैं। राजकुमार लक्ष्यराज सिंह का मानना है कि सड़क पर बेच रहे लोगों के इस छोटे से व्यापार को भी बढ़ावा मिलना चाहिए। क्योंकि इस व्यापार के लिए वो काफी मेहनत करते हैं। और लोगों के घर को रोशन करते है। लेकिन इसके बाद भी इनके जीवन में अंगेरा रहता है। मिट्टी के बर्तन का प्रचलन हमारे देश में हजारों साल पुराना है।
बता दें कि उदयपुर के मेवाड़ घराने के राजकुमार लक्ष्यराज सिंह भगवान श्रीराम के पुत्र लव के वंशज बताए जाते है। राजकुमार लक्ष्यराज सिंह की दरियादिली की लोग काफी प्रशंसा कर रहे हैं।