अदरक का प्रयोग वैसे तो हमारे देश में 12 माह होता ही है लेकिन सर्दियों का मौसम आते ही इसका इस्तेमाल काफी बढ़ जाता है। विशेषकर सर्दियों में बनने वाली चाय इसके बिना अधूरी मानी जाती है। कई बार सब्जियों के बनाने के दौरान भी अदरक का प्रयोग किया जाता है। सब्जियों में अदरक का इस्तेमाल रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाता है। इसके अलावा इसका काढ़ा भी सर्दी-जुकाम जैसी समस्याओं बहुत कारगर होता है।

भारत और चीन में है मांग

आपको बता दें कि भारत के अलावा चेन में भी अदरक का इस्तेमाल बड़े पैमाने पर किया जाता है। इन दोनों देशों में अदरक की डिमांड हमेशा बनी रहती है। इसी कारण अब बाजार में कई स्थानों पर नकली अदरक भी आ चुका है और बाजारों में इसको धड़ल्ले से बेचा भी जा रहा है। आपको जानकारी दे दें की बहुत से स्थानों पर पहाड़ी पेड़ो की जड़ को कच्चा अदरक बता कर बेचा जा रहा है और लोग पहचान न होने के कारण इसको खरीद भी रहें हैं। आइये आपको बताते हैं की आप नकली अदरक की पहचान किस प्रकार से कर सकते हैं।

ऐसे करें नकली अदरक की पहचान

अदरक की त्वचा पतली होती है और उसमें यदि आप नाखून को गड़ाते हैं तो वह कट जाती है। इसके अलावा आप असली अदरक का पता उसको टेस्ट करके भी लगा सकते हैं। अतः आप अदरक को थोड़ा चख कर देख सकते हैं। इसके अलावा आप सूंघ कर भी अदरक का पता लगा सकते हैं। यदि सूंघने पर आपको तेज स्मैल आती है तो यह असली अदरक है। बता दें कि पहाड़ी पेड़ की जड़ से कोई खुशबू नहीं आती है।

साफ़ अदरक को न खरीदें

आपको बता दें कि बाजार में काफी स्थानों पर साफ़ किया हुआ अदरक भी खूब मिलता है। इस प्रकार के अदरक को लोग खरीद लेते हैं लेकिन वास्तव में आपको इस प्रकार के अदरक की खरीदारी से बचना चाहिए क्यों की अदरक को साफ़ करने के लिए जिस एसिड का इस्तेमाल किया जाता है। वह आपकी सेहत के लिए काफी हानिकारक होता है।