राजस्थान पुलिस ने साइबर ठगी के एक बड़े मामले में नौ लोगों को गिरफ्तार किया है, जिनमें चार नाबालिग शामिल हैं। इन आरोपियों ने लोगों को धोखा देने के लिए व्हाट्सएप पर केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की तस्वीर को अपनी स्टेटस और डिस्प्ले पिक्चर (डीपी) पर लगाया हुआ था।
इस चालाकी के जरिए वे लोगों को भ्रमित करके ठगी करने की कोशिश कर रहे थे। पुलिस ने इन आरोपियों को पकड़ने के लिए भरतपुर, अलवर, और मेवात के विभिन्न स्थानों पर छापेमारी कर उन्हें हिरासत में लिया। इस कार्रवाई के माध्यम से पुलिस ने एक संगठित साइबर अपराध गिरोह का भंडाफोड़ किया है।
साइबर अपराधियों पर शिकंजा
यह गिरफ्तारी “ऑपरेशन एंटीवायरस” के तहत की गई है, जिसे राजस्थान में साइबर अपराधियों पर शिकंजा कसने के लिए चलाया जा रहा है। इस अभियान के दौरान पुलिस ने डीग क्षेत्र में एक बड़ी कार्रवाई करते हुए इन अपराधियों को गिरफ्तार किया है। “ऑपरेशन एंटीवायरस” का मुख्य मकसद डिजिटल धोखाधड़ी को रोकना और साइबर ठगों को कानून के तहत लाकर सख्त कार्रवाई करना है।
तलाशी में मिले कई सिम कार्ड
आपकी जानकारी के लिए बता कि पुलिस ने मुखबिर की सूचना पर इस कार्रवाई को अंजाम दिया है। ये साइबर अपराधी पालड़ी गांव के पास में यह ठगी कर रहे थे। जब पुलिस ने इनकी तलाशी ली तो उनको 9 मोबाइल और कई फर्जी सिम कार्ड मिले थे। इसके साथ ही उनके मोबाइल में केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह के कई फोटो भी लगी हुई है।
बड़ा नेता बताकर करते थे ठगी
पुलिस ने इस मामले के बारे में बताया कि पूछताछ से पता चला है कि ये ठग व्हाट्सएप के द्वारा भोले-भाले लोगों को सेक्स टॉर्चर कर अश्लील वीडियो दिखाते थे और फिर उस व्यक्ति का वीडियो रिकॉर्ड करके धमकाते थे। वह खुद को पुलिस अधिकारी या कोई बड़ा नेता बताते हुए उसको डराकर अपने फर्जी खातों में पैसे ले लिया करते थे। उसके बाद वह एटीएम कार्ड से 20% के कमीशन पर उस पैसे को निकाल लेते थे।
800 लोग हो चुके गिरफ्तार
आईजी राहुल प्रकाश ने भरतपुर और आसपास के क्षेत्रों में साइबर ठगी को कम करने के लिए ऑपरेशन एंटीवायरस चलाया था। जिसके तहत अब तक करीब 800 लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है। राजस्थान पुलिस के इस ऑपरेशन से देशभर में साइबर ठगी के मामलों में 4% तक कमी आई है।