नई दिल्ली। राज्य सरकार ने किसानों के हित में बड़ा निर्णय करते हुए दीर्घकालीन कृषि ऋण लेने वाले किसानों के लिए ब्याज दर में सब्सिडी प्रदान करने की घोषणा की है। सरकार द्वारा जारी सूचना के अनुसार अब किसानों को ब्याज दर में 5 फीसदी अनुदान दिया जाएगा। वहीं दूसरी ओर समय पर ऋण चुकाने वाले किसानों को भी अब 5.15 प्रतिशत की ब्याज दर से लोन दिया जाएगा। प्राप्त जानकारी के अनुसार यह योजना 31 मार्च, 2023 तक जारी रहेगी।
राजस्थान राज्य सरकार में सहकारिता मंत्री उदयलाल आंजना ने मीडिया को संबोधित करते हुए कहा कि यह योजना सहकारी भूमि विकास बैंकों से लिए जाने वाले दीर्घ अवधि के ऋणों पर भी लागू की जाएगी। उन्होंने बताया कि यह ब्याज दर किसी भी वाणिज्यिक बैंक द्वारा ली जाने वाले ब्याज दरों में सबसे कम है।
उल्लेखनीय है कि विभिन्न कारणों से किसानों को कृषि कार्यों हेतु ऋण लेना पड़ता है परन्तु ब्याज दर अधिक होने के कारण वे समय पर ऋण नहीं चुका पाते और उन्हें अनावश्यक समस्याओं से जूझना पड़ता है। इस कारण बहुत से कृषक परिवारों को बेघर भी होना पड़ा है।
आंजना ने कहा कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत द्वारा किसानों के हित में फैसला लेते हुए राज्य बजट में की घोषणा के अनुरूप ही इसे अप्रैल 2022 में लागू किया जा रहा है।
इस योजना से किसानों को यह लाभ होंगे
1 अप्रैल, 2022 से 31 मार्च, 2023 तक की अवधि के बीच में ऋण लेने वाले सभी किसानों को इस योजना का लाभ दिया जाएगा।
दीर्घकालीन कृषि ऋण आमतौर पर 10.15 प्रतिशत की ब्याज दर पर दिया जाता है। इस ऋण को समय पर चुकाने वाले किसानों को राज्य सरकार 5 प्रतिशत ब्याज दर का अनुदान देकर राहत प्रदान करेगी।
ब्याज अनुदान के लिए
लघु सिंचाई के कार्य जैसे नलकूप-नवकूप, कूप गहरा कराना, पम्पसैट, फव्वारा-ड्रिप सिंचाई, विद्युतीकरण, नाली निर्माण, डिग्गी-हौज निर्माण तथा कृषि यंत्रीकरण के कार्य जैसे ट्रैक्टर, कृषि यंत्रादि, थ्रेसर, कम्बाईन हार्वेस्टर आदि क्रय करने के लिए ऋण ले सकते हैं। इनके अलावा भूमि सुधार, डेयरी, भूमि समतलीकरण, कृषि भूमि क्रय, अनाज-प्याज गोदाम निर्माण, ग्रीन हाउस, कृषि कार्य हेतु सोलर प्लांट, कृषि योग्य भूमि की तारबंदी, पशुपालन, वर्मी कम्पोस्ट, भेड़-बकरी-सुअर, मुर्गी पालन, उद्यानीकरण, ऊंट-बैल गाड़ी क्रय जैसी कृषि संबंद्ध गतिविधियां भी इस अनुदान के लिए पात्र हैं।